प्रतीकात्मक तस्वीर।
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ट्राइसिटी (पंचकूला-मोहाली और चंडीगढ़) में अब टू कोच मेट्रो ही दौड़ेगी। केंद्र ने चंडीगढ़ प्रशासन और यूएमटीए द्वारा एमआरटीएस (मास रैपिड ट्रांजिट सीस्टम) में भेजे गए मेट्रोलाइट के प्रस्ताव को खारिज कर दिया है। रेल इंडिया तकनीकी और आर्थिक सेवा (राइट्स) ने हाल ही में प्रस्तावित मेट्रो रूट की अलाइनमेंट में कुछ संशोधन किया है, जिसे सभी हितधारकों ने मंजूरी दे दी है।
यह प्रस्ताव अब अंतिम मंजूरी के लिए संबंधित मंत्रालय को भेजा जाना है। बता दें कि केंद्र ने ट्राइसिटी मेट्रो के कार्यान्वयन के लिए गठित यूएमटीए से मेट्रो के अलावा शहर में अन्य विकल्पों पर प्रस्ताव मांगे थे, जिसमें मेट्रोलाइट का भी प्रस्ताव भेजा गया था। इसके तहत विशेष प्रकार की बसें मौजूदा सड़क संरचना पर चलाई जानी थीं लेकिन शहर पर बढ़ते यातायात के दबाव को देखते हुए केंद्र ने इस प्रस्ताव को खारिज किया है। अब ट्राइसिटी में मेट्रो कोच सिस्टम होगा।
परियोजना के पहले चरण में कुल 70.04 किलोमीटर ट्रैक पर तीन रूट प्रस्तावित किए गए हैं, जिसमें 66 स्टेशन शामिल रहेंगे। इनका निर्माण 2034 तक पूरा होगा। लगभग 19 हजार करोड़ के प्रस्तावित इस प्रोजेक्ट के अंडरग्राउंड नेटवर्क को लेकर राइटस और यूटी के अधिकारी डीपीआर पर काम कर रहे हैं, जिसे मंत्रालय को सौंपा जाएगा।
पहले चरण का रूट प्लान
- परौल न्यू चंडीगढ़ से सेक्टर-28 पंचकूला तक 32.2 किमी का ट्रैक होगा जिस पर 26 स्टेशन होंगे
- सुखना लेक से जीरकपुर आईएसबीटी तक (वाया मोहाली आईएसबीअी और चंडीगढ़ एयरपोर्ट) 36.4 किमी ट्रैक होगा जिस पर 29 स्टेशन होंगे
- ग्रेन मार्केट चौक सेक्टर-39 से ट्रांसपोर्ट चौक सेक्टर-26 तक 13.80 किमी के रूट पर 11 स्टेशन (डिपो के प्रवेश से 2.5 किमी पीछे) होंगे
पहले चरण में यह होगा खास
- एलिवेटिड और अंडग्राउंड ट्रैक बनाए जाएंगे
- मध्य मार्ग कॉरिडोर पूरी तरह से ऐलिवेटिड होगा
- मोहाली और पंचकूला में दूसरे चरण में 25 किमी के दायरे में एलिवेटिड ट्रैक का निर्माण होगा