सिविल सर्विसेस में सिलेक्शन के लिए पहचान बदलने और विकलांगता सर्टिफिकेट में गड़बड़ी की आरोपी पूजा खेडकर अब ट्रेनी IAS नहीं रही हैं। UPSC ने पूजा का सिलेक्शन रद्द कर दिया है। 2023 बैच की ट्रेनी IAS ऑफिसर पूजा खेडकर के खिलाफ UPSC ने पहचान बदलकर तय सीमा से ज्यादा बार सिविल सर्विसेस का एग्जाम देने के मामले में FIR दर्ज कराई थी।
UPSC ने पूजा को नोटिस जारी कर सिलेक्शन कैंसिल करने को लेकर जवाब भी मांगा था। UPSC ने कहा था कि पूजा के खिलाफ जांच में पाया गया कि उन्होंने अपना नाम, माता-पिता का नाम, सिग्नेचर, फोटो, ईमेल ID, मोबाइल नंबर और एड्रेस बदलकर UPSC का एग्जाम दिया। दिल्ली पुलिस की क्राइम ब्रांच ने पूजा के खिलाफ जालसाजी, धोखाधड़ी, आईटी एक्ट और डिसेबिलिटी एक्ट के तहत केस दर्ज किया था।
विवाद के बाद पुणे से वाशिम ट्रांसफर हुआ था
पूजा पर ट्रेनिंग के दौरान पद का गलत इस्तेमाल करने और खराब आचरण करने का आरोप लगा था। सबसे पहले पुणे के डिस्ट्रिक्ट कलेक्टर सुहास दिवासे ने पूजा के खिलाफ शिकायत की थी, जिसके बाद उनका ट्रांसफर वाशिम कर दिया गया था।
इसके बाद ही पूजा पर पहचान छिपाने और OBC , विकलांगता कोटे के दुरुपयोग करने का आरोप लगा। 16 जुलाई को पूजा की ट्रेनिंग रोक दी गई और उन्हें मसूरी स्थित लाल बहादुर शास्त्री राष्ट्रीय प्रशासनिक अकादमी (LBSNAA) वापस बुला लिया गया। हालांकि वे 23 जुलाई की डेडलाइन खत्म होने तक LBSNAA नहीं पहुंचीं।
पूजा पर सिलेक्शन के लिए नाम-उम्र से छेड़छाड़ का भी आरोप
पूजा की UPSC में गड़बड़ी के मामले में और भी खुलासे हुए हैं। सामने आया है कि पूजा ने UPSC के अटेम्प्ट बढ़ाने के लिए अपने नाम और उम्र में बदलाव किया था। सेंट्रल एडमिनिस्ट्रेटिव ट्रिब्यूनल (CAT) में पूजा की तरफ से लगाए गए 2020 और 2023 के दो आवेदनों में पूजा के अलग-अलग नाम हैं।
पूजा ने 2020 के आवेदन में अपना नाम ‘खेडकर पूजा दिलीपराव’ और उम्र 30 साल बताई थी। वहीं, 2023 में CAT के आवेदन में उन्होंने अपना नाम ‘पूजा मनोरमा दिलीप खेडकर’ और उम्र 31 साल बताई। सवाल उठाया जा रहा है कि तीन साल के अंतराल में उनकी उम्र एक ही साल कैसे बढ़ सकती है।
दरअसल, UPSC में जनरल कैटेगरी के कैंडिडेट को 32 साल की उम्र तक 6 बार परीक्षा देने की अनुमति होती है। वहीं OBC कैटेगरी का अभ्यर्थी 35 साल तक 9 बार परीक्षा दे सकता है। सूत्रों के मुताबिक, पूजा ने कुल 11 बार सिविल सर्विसेस की परीक्षा दी हैं।
विकलांगता सर्टिफिकेट से जुड़े 4 विवाद
- विकलांगता सर्टिफिकेट में पूजा खेडकर का एड्रेस ‘प्लॉट नंबर 53, देहू अलंदी रोड, तलावडे, पिंपरी चिंचवाड़, पुणे’ लिखा गया था। जबकि इस एड्रेस पर कोई घर नहीं, बल्कि थर्मोवर्टा इंजीनियरिंग कंपनी नाम की एक फैक्ट्री है। पूजा की जिस ऑडी को जब्त किया गया था, वह इसी कंपनी के नाम पर रजिस्टर्ड थी।
- सरकारी नियमों के तहत विकलांगता सर्टिफिकेट बनाने के लिए आधार कार्ड अनिवार्य है, लेकिन पूजा के सर्टिफिकेट में राशन कार्ड लगाया गया था।
- विकलांग कोटे से UPSC में सिलेक्शन होने के बाद से पूजा के कई विकलांगता सर्टिफिकेट सामने आ चुके हैं। पूजा खेडकर ने 2018 और 2021 में अहमदनगर डिस्ट्रिक्ट सिविल हॉस्पिटल की ओर से जारी 2 विकलांग सर्टिफिकेट UPSC को सौंपे थे।
- पूजा ने अपनी विकलांगता सर्टिफिकेट की पुष्टि के लिए दिल्ली में मेडिकल जांच के लिए कई बार अपॉइंटमेंट लिया था, लेकिन बाद में उन्होंने एक प्राइवेट हॉस्पिटल में बनी रिपोर्ट को UPSC में जमा कर दिया।
- यशवंत राव चह्वाण मेमोरियल (YCM) अस्पताल ने साफ कर दिया है कि पूजा खेडकर का लोकोमीटर सर्टिफिकेट बनाने में कोई गलती नहीं हुई। सर्टिफिकेट में पूजा को 7% लोकोमीटर डिसेबिलिटी बताई गई थी। अस्पताल को पिंपरी चिंचवाड नगर निगम संचालित करता है।
पूजा पर OBC नॉन-क्रीमीलेयर कोटे का फायदा उठाने का भी आरोप
पूजा पर माता-पिता के मैरिटल स्टेटस की जानकारी छिपाकर OBC नॉन-क्रीमीलेयर कोटे का फायदा उठाने का भी आरोप लगा है। पूजा के पिता दिलीप खेडकर रिटायर्ड IAS अधिकारी हैं। उन्होंने चुनाव भी लड़ा था। एफिडेविट में उन्होंने अपनी संपत्ति 40 करोड़ रुपए बताई थी। पूजा ने परिवार की संपत्ति 8 लाख से कम बताई थी।
पूजा का एक वीडियो वायरल हो रहा है, जिसमें उन्होंने माता-पिता के तलाक का दावा किया है। उनके पिता अब उनके साथ नहीं रहते, इसलिए वे अब OBC नॉन-क्रीमी लेयर के दायरे में आती हैं। पुणे पुलिस के मुताबिक, UPSC ने पूजा के माता-पिता के मैरिटल स्टेटस रिपोर्ट मांगी है।
पूजा को गिरफ्तारी का डर, अग्रिम जमानत पर फैसला कल
वहीं दिल्ली की एक अदालत धोखाधड़ी और जालसाजी के एक मामले में पूजा की अग्रिम जमानत याचिका पर 1 अगस्त को अपना फैसला सुना सकती है। एडिशनल सेशन जज देवेंद्र कुमार जंगाला ने बुधवार को खेडकर द्वारा दायर आवेदन पर दलीलें सुनने के बाद आदेश सुरक्षित रख लिया।
पूजा ने वकील के माध्यम से दावा किया था कि उन्हें गिरफ्तारी का खतरा है। UPSC की ओर से पेश हुए वकील ने आवेदन का विरोध करते हुए दावा किया कि उन्होंने सिस्टम को धोखा दिया है। पूजा ने कानून और कानूनी प्रक्रिया का दुरुपयोग किया है। उसके द्वारा कानून का दुरुपयोग करने की संभावना अभी भी बनी हुई है। वह एक साधन संपन्न व्यक्ति हैं।
पूजा खेडकर की मां पर किसानों को धमकाने का आरोप, 14 दिन की हिरासत में भेजा
वहीं पूजा खेडकर की मां मनोरमा खेडकर पर किसानों को पिस्टल से धमकाने और जमीन हड़पने के आरोप में गिरफ्तार हैं। पुणे पुलिस ने उन्हें सोमवार को मजिस्ट्रेट कोर्ट में पेश किया था, जहां से उन्हें 14 दिन की न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया है।
सोशल मीडिया पर मनोरमा का 2023 का एक वीडियो वायरल हुआ था। वीडियो में मनोरमा जमीन को लेकर एक किसान को पिस्टल दिखाकर धमकाती हुई नजर आ रही थीं। वीडियो सामने के बाद जब उनके खिलाफ कार्रवाई की मांग उठी तो वे फरार हो गईं।
वे रायगढ़ के महाड में एक लॉज में अपने ड्राइवर के साथ छुप गईं। उन्होंने ड्राइवर को अपना बेटा बताया था। लॉज में रूम बुक करने के लिए मनोरमा ने फेक आधार कार्ड का इस्तेमाल किया था। पुलिस ने 18 जुलाई को उन्हें इस लॉज से गिरफ्तार किया था।
इससे पहले 19 जुलाई को इसी मामले में पूजा खेडकर के पिता दिलीप कोंडीबा खेडकर को सेशन कोर्ट ने 25 जुलाई तक अंतरिम जमानत दे दी है।