कैथल में सीआईडी इंस्पेक्टर और ट्रैफिक एसएचओ के बीच भिड़ंत, ब्लैक फिल्म पर 17,000 का चालान
कैथल में एक दिलचस्प घटना सामने आई, जब सीआईडी इंस्पेक्टर और ट्रैफिक एसएचओ के बीच चालान काटने को लेकर विवाद हो गया। यह विवाद तब हुआ जब ट्रैफिक एसएचओ ने सीआईडी इंस्पेक्टर गुरदयाल के बेटे की बोलेरो गाड़ी पर लगी काली फिल्म का चालान कर दिया, जो 17,000 रुपए का था।
ट्रैफिक एसएचओ एसआई राजकुमार राणा ने बताया कि जब उन्होंने सीआईडी इंस्पेक्टर के बेटे की गाड़ी पर लगी ब्लैक फिल्म का चालान किया, तो बेटे ने अपने पिता को फोन कर उन्हें घटनास्थल पर बुला लिया। इस पर सीआईडी इंस्पेक्टर गुरदयाल ने एसएचओ को धमकी दी और कहा कि अगर उनमें हिम्मत है, तो वह उसके बेटे का चालान करके दिखाएं।
इस धमकी के बाद, ट्रैफिक एसएचओ ने पूरी घटना की सूचना कैथल के एसपी राजेश कालिया को दी। एसएचओ ने मीडिया से बात करते हुए कहा कि रूल्स सब के लिए बराबर हैं, चाहे वह पुलिस कर्मचारी का बेटा हो या कोई आम नागरिक, सभी को यातायात नियमों का पालन करना चाहिए।
यह मामला इस बात का प्रतीक बन गया कि नियमों का उल्लंघन करने पर कोई भी व्यक्ति नहीं बच सकता, चाहे वह किसी भी वर्ग से हो।
सीआईडी इंस्पेक्टर के बेटे ने कहा, 17,000 रुपए का चालान गलत, नहीं किया सिग्नल उल्लंघन
कैथल में सीआईडी इंस्पेक्टर के बेटे ने ट्रैफिक पुलिस द्वारा 17,000 रुपए का चालान काटने को नाजायज करार दिया है। उनका कहना था कि उनकी गाड़ी के शीशे पर केवल 30% ब्लैक फिल्म लगी हुई थी और उन्होंने कोई यातायात सिग्नल उल्लंघन नहीं किया।
सीआईडी इंस्पेक्टर के बेटे ने कहा कि यातायात पुलिस ने उनकी गाड़ी पर काली फिल्म के लिए 10,000 रुपए का चालान और सिग्नल तोड़ने के लिए 7,000 रुपए का चालान किया है। उन्होंने कहा कि वह पूरी तरह से कानून का सम्मान करते हैं, लेकिन उनके साथ की गई यह ज्यादती गलत है, क्योंकि उन्होंने किसी भी यातायात नियम का उल्लंघन नहीं किया।
उन्होंने यह भी साफ किया कि उनके पिता द्वारा ट्रैफिक एसएचओ राजकुमार राणा को कोई धमकी नहीं दी गई थी, जैसा कि आरोप लगाया गया था। उनका कहना था कि यह पूरी घटना गलतफहमी का परिणाम है और यातायात पुलिस को इस मामले में उचित कार्रवाई करनी चाहिए।